नीमच। गुरूदेव रवींद्र नाथ टैगोर का साहित्य के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान है। देश की आजादी के आंदोलन में भी उनके योगदान व कार्यों को प्रभावी तरीके से याद किया जाता है।गुरूदेव की रचना कालजयी रही है। यह बात कृति अध्यक्ष इंजीनियर बाबूलाल गौड़ ने कही। वे गुरूदेव रवींद्र नाथ टैगोर की जयंती के मौके पर बोल रहे थे।साहित्यिक, सांस्कृतिक एवं सामाजिक संस्था कृति ने 7 मई मंगल की सुबह 9.30 बजे सीताराम जाजू गर्ल्स कॉलेज रोड स्थित गुरूदेव रवींद्र नाथ टैगोर की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर गुरूदेव रवींद्र नाथ टैगोर की जयंती मनाई एवं माल्यार्पण के बाद राष्ट्रगान गाया गया। इसके बाद सचिव महेंद्र त्रिवेदी, ओमप्रकाश चौधरी, डॉ माधुरी चौरसिया, रघुनंदन पाराशर, प्रकाश भट्ट, डॉ पृथ्वी सिंह वर्मा, सत्येंद्र सक्सेना, डॉ जीवन कौशिक, मंजुला धीर आदि सदस्यों ने टैगोर के साहित्य और उनके कार्यों पर प्रकाश डाला। इस अवसर पर नरेंद्र पोरवाल, शैलेंद्र पोरवाल, शरद पाटीदार, मुकेश कासलीवाल, श्याम टांकवाल, घनश्याम सिंह अंब, डॉ विनोद शर्मा, श्याम थोरेचा, सत्येंद्र सिंह राठौड़, कमलेश जायसवाल, राजेश जायसवाल, डॉ राजेंद्र जायसवाल, सुरेश सिंहल, लोकेंद्र बंसल आदि मौजूद रहे।