logo

दिव्यांगजनों ने अपनी मांगों को लेकर किया प्रदर्शन, दिया एक दिवसीय धरना, 11 मार्च को सीएम निवास का करेंगे घेराव

नीमच। दिव्यांग ज्योति सेवा संस्थान के सदस्यों द्वारा पिछले दिनों मुख्यमंत्री के नाम अपनी 13 सूत्रीय मांगों को लेकर ज्ञापन सोपा था जिसमें चेतावनी दी थी कि 20 फरवरी तक  दिव्यांगजनो की मांगे पूरी नही होती हैं तो सभी दिव्यांग धरने पर बैठेंगे। जिसको लेकर बुधवार को जिला अस्पताल के बाहर रेडक्रॉस सोसायटी के सामने दिव्यांग जनों ने अपनी 13 सूत्रीय मांगो को लेकर एक दिवसीय धरना देकर प्रदर्शन किया। दिव्यांग ज्योति सेवा संस्थान के जिलाध्यक्ष रामप्रकाश बलदेवा ने बताया कि दिव्यांगजनों की 13 मांगे हैं जो पूरी नही हुई। जिसको लेकर धरना प्रदर्शन किया जा रहा हैं। दिव्यांग जनो की मुख्य मांगें सामाजिक सुरक्षा पेंशन 600 से बढ़ाकर 1500 रुपए मासिक करने व दिव्यांग जनों को 5 लाख तक का ऋण सरकार अपनी गारंटी पर उपलब्ध कराए। शासन द्वारा वृद्ध जनों को दी जाने वाली सामाजिक सुरक्षा पेंशन में बीपीएल कूपन की बाध्यता समाप्त की जाए। 22 वर्ष पूर्व केंद्र सरकार द्वारा दिव्यांगों की सहायता हेतु स्वीकृत दिव्यांग पुनर्वास केंद्र के निर्माण हेतु तत्काल बजट राशि स्वीकृत कर निर्माण किया जाए। दृष्टि बाधित दिव्यांग छात्र-छात्राओं के लिए आवास सुविधा सहित दृष्टि बाधित शिक्षा विद्यालय मंदिर तत्काल प्रारंभ करने। प्रदेश की हर तहसील में मानसिक रूप से ग्रसित उनके समुचित विकास के लिए मानसिक दिव्यांग के स्कूल तत्काल खोलें।दिव्यांग जनों की खेल प्रतिभाओं को प्रोत्साहित करने के लिए प्रदेश के हर जिले में दिव्यांग जनों  का खेल ट्रेनिंग सेंटर खोला जाए। 21 तरह की श्रेणी के दिव्यांगजनों की जांच कर दिव्यांग प्रमाण पत्र बनाने के लिए सभी श्रेणी के डॉक्टरों की नियुक्ति तत्काल की जाए। सामाजिक न्याय विभाग में अतिरिक्त प्रभारी को हटाकर उप संचालक सामाजिक न्याय विभाग से ही तत्काल नियुक्त किया जाएं। दिव्यांग जनों की ऐसी 13 सुत्रीय मांगो के निराकरण के लिए हड़ताल की जा रही हैं। फिर भी अगर मांग पूरी नही की गई तो दिव्यांगों द्वारा 11 मार्च को भोपाल मुख्यमंत्री निवास का घेराव किया जाएगा और धरना दिया जाएगा। इस दौरान अध्यक्ष रामप्रकाश बलदेवा, सचिव तुलसीराम मेघवाल, आबिद हुसैन,  सुरेश पाटीदार, मोहम्मद अकबर, सोनू बैरागी, जसवंत तंवर, प्रदीप सोनी, सत्यनारायण सहित सभी दिव्यांगजन उपस्थित रहे।

Top